मुख्यमंत्री ने रीपा के स्टॉल का अवलोकन कर ‘‘सर्वदा लाइफ’’ के उत्पादों की सराहना की

इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा कि आज छत्तीसगढ़ के परंपरागत फसल को न्यूट्रीशनल बार के रूप में नवाचार के माध्यम से एक अलग पहचान दी जा रही है।

मिलेट वो सुपरफूड है जोकि विटामिन का डबल डोज है। स्वाद के साथ स्वास्थ्य को अपनाना है तो हमें मिलेट को बढ़ावा देना पड़ेगा इसलिए छत्तीसगढ़ सरकार अपनी पारंपरिक खेती को बढ़ावा दे रही है, ताकि छत्तीसगढ़ को मिलेट हब बनाकर विश्व स्तर पर पहचान बनाई जा सके।

पाटन विकाखंड के कुर्मीगुंडरा और फुंडा पंचायतों में दूरदृष्टि के साथ भविष्य में रोजगार के अकूत अवसरों को ध्यान में रखकर ‘‘मल्टी मिलेट फ्लोर इंस्टेंट प्रिमिक्सेस, न्यूट्रीशन बार’’ कुर्मीगुंडरा में और ‘‘कोल्डप्रेस ऑयल’’ इंडस्ट्री फुंडा में स्थापित की गई है। एक रीपा परियोजनाओं से लगभग 150 लोगों को प्रत्यक्ष और एक हजार लोगों को अप्रत्यक्ष रोजगार मिल रहा है।

जिला प्रशासन की दक्ष तकनीकी टीम के द्वारा उत्पादों की ब्रांड बिल्डिंग की गई है, जिसे ‘‘सर्वदा लाइफ’’ के नाम से भरपूर प्रतिसाद मिल रहा है। कुर्मीगुंडरा और फुंडा इन दोनों ही स्थानों पर ‘‘नव सृजन खाद्य उत्पादक सहकारी समिति‘‘ और ‘‘शहीद वीर नारायण सिंह सहकारी समिति’’ का गठन किया गया है। इन समितियों को प्रशिक्षण प्रदत्त कर कुशल बनाया गया है।

इंस्टेंट प्रिमिक्सेज में राइस इडली, चकली, अप्पे, खमण ढोकला, राइस ढोकला और मूंग बड़े के फ्लोर आकर्षक प्रीमियम पेकिंग में उपलब्ध कराए गए हैं। आज की भागती हुई जिंदगी में कम समय में फौरन और कम समय में स्वाद को बनाये रखते हुए पौष्टिक तत्वों को स्थायी रखा जा सकता है, इस उद्देश्य के साथ ‘‘सर्वदा लाइफ’’ के उत्पादों को पेश किया गया है।

छत्तीसगढ़ को मिलेट हब बनाने की दिशा में जिले की इंडस्ट्रियल इकाइयां बेहतर से बेहतर कार्य कर रही हैं। रागी, कोदो, कुटकी छत्तीसगढ़ की पुरानी कृषि संस्कृति से जुड़ी हुई है। ऐतिहासिक रूप से इनका सेवन प्रदेश में होता रहा है। इसी कड़ी को नए कलेवर में परिमार्जित कर मूल्य सम्वर्धित उत्पाद ‘‘सर्वदा लाइफ’’ ने उत्पाद बाजार में पेश किए हैं।

खास उत्पाद- मिलेट इडली प्रिमिक्स, मिलेट अप्पे प्रिमिक्स और मिलेटचीला प्रिमिक्स। भविष्य में इस रेंज को और विस्तार देकर 15 से 20 प्रोडक्ट्स बाजार में उतारने की तैयारी की जा रही है। इसी तरह कुर्मीगुंडरा पंचायत में न्यूट्रीशनल बार विकसित किया गया है। फुंडा पंचायत में शुद्ध तथा रसायनमुक्त, कच्ची घानी का तेल निकाला जा रहा है, मुख्य रूप से मूंगफली, सरसो, तिल व सूरजमुखी का तेल आकर्षक प्रीमियम पेकिंग में उपलब्ध करवाया जा रहा है।

कुर्मीगुंडरा इकाई की उत्पादन क्षमता 200 किलोग्राम प्रति घंटा है, इस दर से अनुमानित सालाना व्यवसाय 1 करोड़ रूपए है। फुंडा इकाई की तेल उत्पादन क्षमता 2 टन प्रतिदिन है तथा पशु आहार निर्माण इकाई की क्षमता 2-3 टन प्रति घंटा है। निर्भया ग्रीन एनर्जिस ने उक्त उत्पाद क्रय करने के लिए (बाय बेक एग्रीमेंट) 5 वर्ष के लिए लिखित अनुबंध निष्पादित किया है।

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