राजिम। राजिम कुंभ कल्प मेला 2024 का आयोजन रामोत्सव के थीम पर मनाया जा रहा है। 5 वर्ष बाद कुंभ की भव्यता लौटी है। इसे यादगार बनाने और भगवान श्रीराम के जीवनी को चरितार्थ करने भव्य पंडाल लगाकर झांकी के माध्यम से दिखाया जा रहा है।ज्ञात हो कि राजिम कुंभ में छत्तीसगढ़ की संस्कृति परंपरा और महत्ता को दूर -दूर तक बिखेरने के लिए विभिन्न रंग भरे गए हैं जिसकी आभा दूर से ही दिख रहीं, जिसमे शिक्षा, स्वास्थ्य, मनोरंजन, ज्ञान, विश्वास और भक्ति का अद्भुत समन्वय किया गया हैं जिसे देखने लिए श्रद्धालुओ की भीड़ लगी हैं। छत्तीसगढ़ शासन के इस आयोजन में चारो तरफ़ नवीन प्रयोग किए गए हैं। जिसमें देश कें कोने-कोने में पल रही प्रतिभा को एक विशाल मंच प्रदान करने का अनूठा प्रयास किया गया हैं। अयोध्या में रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा होने से हर दिल में राम हैं और चहुं दिशा में जय श्रीराम के नारें गूंज रहे हैं। हिंदू धर्म में एक नवयुग का प्रारंभ हुआ हैं। युग निर्माता देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी के प्रयास से इतिहास की सबसे बड़ी जीत हासिल हुई हैं और हम सभी राम मंदिर निर्माण के साक्षी बने इसलिए इसे रामोत्सव के रूप के मनाने के लिए पूरे अयोजन में रामराय माहौल का निर्माण किया गया हैं।
वैसे मनुष्य के पास हुनर की कमी नहीं हैं जरूरत हैं तो उसे अवसर प्रदान करने की। ऐसे ही एक अद्भुत कलाकृति को देखकर दर्शको के मुख से अनायास ही निकल रहा वाह क्या कला हैं। इस कलाकृति को जिसने भी बनाया हैं उसमें कल्पनाओं की अथाह समंदर हैं जिससे उन्होंने विभिन्न रंगो की रंगोली के प्रयोग से जीवंत चित्र उकेर दिए। मुख्य मंच के पास एक किनारे में दीपक शर्मा, भोजराज धनगर, सिद्धार्थ सोनी, ऋषभ शर्मा ने अयोध्या के श्री राम की बहुत ही मनमोहक तेजस्वी और मुस्कान लिए रंगीली बनाई हैं, जिसमें रंगो का संयोजन बहुत बारीकी से किया गया है। इस रंगोली को सुरक्षित घेरे में रखा गया हैं, जो भी यहां से गुजर रहे से इस सुंदर कलाकारी को देख अपनी मोबाइल में रिकार्ड कर रहे हैं। राजिम कुंभ में यह आकर्षण का प्रमुख केंद्र बना हुआ हैं।