लोपबुरी सिटी (थाईलैंड): बंदरों के आतंक से शायद हर कोई परिचित होगा। पिछले महीने महाराष्ट्र के एक गांव में बंदरों ने अपने बच्चे की मौत का बदला लेने के लिए आसपास के क्षेत्र के लगभग ढाई सौ कुत्तों और उनके बच्चों को मार दिया था।
तब यह खबर अंतरराष्ट्रीय जगत में सुर्खियां बनी। वीडियो और फोटो खूब वायरल हुए। मगर ऐसे हालात शायद ही कभी बने होंगे कि बंदरों ने गैंग बनाकर किसी एक शहर पर कब्जा कर लिया। वहां की दुकानों में जाकर लूटपाट कर रहे और लोगों को उनके घर छोड़ने पर मजबूर कर दिया।
जी हां, थाईलैंड के लोपबुरी शहर के लोग मकाऊ बंदरों के आतंक से बुरी तरह प्रभावित हैं। लोग घर छोड़कर दूसरे शहर में चले गए हैं। दुकानों के सामान सड़कों पर बिखरे पड़े हैं। क्षेत्र पर कब्जा जमाने के लिए बंदरों की गैंग पूरे दिन आपस में लड़ती है। हालात इतने अराजक हो चुके हैं कि प्रशासन भी सीधे कार्रवाई से बच रहा है।
शहरी खानपान की लगी आदत
दरअसल, थाईलैंड का लोपबुरी शहर पहले से ही मकाऊ बंदरों का रिहाइश इलाका रहा है। दुनियाभर के पर्यटक यहां बंदरों की इस खास प्रजाति को देखने आते रहे हैं। मगर मार्च 2020 के बाद से यहां न सिर्फ इस प्रजाति की आबादी जबरदस्त तरीके से बढ़ी है बल्कि, हिंसक और अराजक भी हुई है।
फास्ट फूड के हैं शौकींन
ये बंदर अब फास्ट फूड और शहरी खानपान के इतने आदी हो चुके हैं कि अब दुकानों और घरों में जाकर जबरदस्ती हासिल कर रहे हैं। हाल ही में जब यह शहर पर्यटकों के लिए एक बार फिर खोला गया, तब यह शहर इस खास प्रजाति के बंदरों से भरा हुआ था।
खौफ में जी रहे शहर के लोग
शहर में अब मनुष्य कम और बंदर ज्यादा दिखाई दे रहे हैं। जहां कहीं इन्सान हैं भी, वे काफी खौफ में जीवन गुजार रहे हैं। वहीं, सरकारी अधिकारी भी इन बंदरों पर कार्रवाई को लेकर असमंजस की स्थिति में हैं।
अधिकारियों के मुताबिक, ये बंदर पर्यटकों द्वारा दिए गए खानपान के इतने आदती हो गए कि जब कोरोना महामारी के दौरान शहर में लॉकडाउन लगाया गया, तो वे खुद शहर में आ गए और उनकी संख्या सैंकड़ों नहीं, हजारों में है।